टिहरी गढ़वाल हिमालय क्षेत्र में वर्षा जल का व्यवस्थापन

टिहरी गढ़वाल वाले हिमालय परिक्षेत्र में जल की उपलब्धता अल्प, बिखरी एवं आरक्षित है। उचित वर्षा जल व्यवस्थापन हेतु जल का संग्रहण, घरेलू उपयोग एवं भूजल – भरण के लिए करना एवं पीने हेतु शुद्ध जल की उपलब्धता ध्यान में रखते हुए उचित दिशा में कदम उठाए गये हैं। क्षेत्र की जल समस्या के समाधान के लिए वर्षा जल का छत से संग्रहण, भूमि संग्रहण, जल शुद्धिकरण आदि तकनीकी का उचित वापर परिक्षेत्र के विकास हेतु किया है। जनजागरण हेतु लोगों के लिए प्रशिक्षण शिविर का भी आयोजन किया है ताकि आम नागरिक जलविज्ञान के बारे में जानकार एवं जागरुक हो। प्रस्तुत अध्ययन का स्थानीय जनता ने अच्छा स्वागत किया है, तथा इस क्षेत्र के आस-पास के गांवों के लोगों ने ऐसी परियोजना की मांग की है, जिससे तकनीकी की सफलता का अंदाजा लगाया जा सकता है।

जल की एक प्रमुख प्राकृतिक संसाधन, मूलभूत मानवीय आवश्यकता एवं बहुमूल्य राष्ट्रीय संपदा है। अतः जल संसाधनों के विकास एवं प्रबंधन को राष्ट्रीय परिप्रेक्ष्य में नियंत्रित करने की विशेष आवश्यकता है। टिहरी गढ़वाल हिमालयन क्षेत्र में बिखरी हुई बस्तियां पायी जाती हैं। यहां भौगोलिक परिस्थितियों के तथा जल के स्रोत शाश्वत नहीं होने के कारण यह क्षेत्र जल के संबंध में संवेदनशील है, जिससे यहां की पारिस्थिति सतही एवं भूजल संसाधनों को प्रभावित करती है। यहां के गांव अपर्याप्त जलापूर्ती के कारण अनेक सामाजिक, आर्थिक एवं पर्यावरणीय समस्याओं से जूझ रहे हैं। इसलिए जलाभाव से संबंधित समस्याओं के हल तथा क्षेत्र के स्थाई विकास हेतु उचित जल प्रबंधन उपायों के कार्यान्वयन की कोशिश की गई है।

उपरोक्त परिस्थितियों के मद्देनजर वर्षा जल का स्थानीय स्तर पर ही संचयन तथा आवश्यकतानुसार इसका उपयोग करना स्थाई तौर पर जलाभाव की समस्या कुछ हद तक समाधान हेतु अति आवश्यक है। यह उपाय वर्षा जल के संचयन ही नहीं अपितु उपलब्ध जल को उपभोक्ताओं में समान रुप से वितरण का अवसर प्रदान करता है। जल आपूर्ति की समस्या के स्थाई हल के लिए ग्रामीणों को जल प्रबंधन संबंधी उपायों का कार्यान्वयन, प्रबंधन तथा अनुवीक्षण करने के लिए शामिल करना अति आवश्यक है। अतः इस दिशा में उचित कदम उठाये गये हैं।

इस रिसर्च पेपर को पूरा पढ़ने के लिए अटैचमेंट देखें

Posted by
Get the latest news on water, straight to your inbox
Subscribe Now
Continue reading